नारायण गुर्जर एक बहुत ही संस्कारी स्वाभिमानी ग्रामीण युवा है, गांव में फसल खराब होने के कारण उसे एक कारखाने में सुरक्षा पर्यवेक्षक के रूप में काम करना पड़ता है. उसको अपने 5 साल के बेटे रवि क... सभी पढ़ेंनारायण गुर्जर एक बहुत ही संस्कारी स्वाभिमानी ग्रामीण युवा है, गांव में फसल खराब होने के कारण उसे एक कारखाने में सुरक्षा पर्यवेक्षक के रूप में काम करना पड़ता है. उसको अपने 5 साल के बेटे रवि को स्कूल में भर्ती कराने जाना है.नारायण गुर्जर एक बहुत ही संस्कारी स्वाभिमानी ग्रामीण युवा है, गांव में फसल खराब होने के कारण उसे एक कारखाने में सुरक्षा पर्यवेक्षक के रूप में काम करना पड़ता है. उसको अपने 5 साल के बेटे रवि को स्कूल में भर्ती कराने जाना है.